पेट में कीड़े (कृमिरोग) : कारण व उपचार

आंतों में कीड़े होने के कुछ आम लक्षण हैं जिनमें मुख्यतः पेट दुखना, मिचली आना, भूख न लगना, पेट फूल जाना, थकना और अकसर खाना हज़म न होना, दस्त, या कब्ज होना शामिल हैं। इसके अलावा आपको वजन कम होना, ठीक से नींद न आना, खुजली होना, सांस लेने में परेशानी होना और बुखार होना जैसे लक्षण भी महसूस हो सकते हैं।

पेट में कीड़े या कृमिरोग
पेट में कीड़े या कृमिरोग

पेट में कीड़ों का उपचार

  • नारंगी के सूखे छिलके और बायविडंग दोनों समभाग में लेकर कूट-पीसकर तीन ग्राम चूर्ण के गर्म पानी के साथ प्रतिदिन एक बार, तीन दिन तक देने से कीड़े मर जाएंगे। उन मरे हुए कीड़ों को निकालने के लिए चौथे दिन एरण्डी का तेल पिलाएं।
  • छाछ में वायविडंग चूर्ण मिलाकर पिलाने से छोटे बच्चों के पेट के कीड़े मर जाते है या निकल जाते हैं। आपके घर का कोई सदस्य पेट के कीड़ों से त्रस्त है और बार-बार इलाज कराने पर भी कीड़ों से मुक्ति नहीं मिल पा रही है, तो आप उसे दिन में तीन-चार बार छाछ पिलाएं। छाछ में भुना हुआ जीरा, थोड़ा नमक और पिसी हुई काली मिर्च डाल सकते हैं। आप देखेंगे कि एक सप्ताह के भीतर ही आंतड़ियों में छाये पड़े कीड़े बाहर निकल आएंगे।
  • सोंठ और बायविडंग के चूर्ण को शहद के साथ सेवन करने से पेट के कीड़े खत्म हो जाते हैं।

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