सर्वाइकल स्पाइन गठिया

जब गठिया (जोड़ों में सूजन) कशेरुकाओं को जोड़ने वाले जोड़ों की हड्डियों और तंत्रिकाओं से बने अंगों में होती है, तो इस बीमारी को कशेरुका संयुक्त रोग या स्पॉन्डिलाइटिस कहा जाता है।

सर्वाइकल वर्टिब्रा का उपचार → रोगी को रात के समय रेचक औषधि देनी चाहिए।

रात को सोने से पहले एक कप गर्म दूध में एक चम्मच त्रिफला चूर्ण और एक चम्मच चीनी मिलाकर देना चाहिए। → ग्रीवा कशेरुकाओं पर गर्म सेक करना इस रोग में बहुत उपयोगी होता है। इस व्यायाम को प्रतिदिन लगभग आधे घंटे से एक घंटे तक करना चाहिए।

इस रोग के उपचार के लिए गुग्गुल सर्वोत्तम औषधि है। सिंहनाथ गुग्गुल, यह गुग्गुल द्वारा बनाई गई एक विशेष तैयारी है। जिसका प्रयोग ज्यादातर आयुर्वेदिक डॉक्टर इस बीमारी में करते हैं।

इस रोग में केवल बाहर से मालिश करना अधिक लाभकारी नहीं होता है। बहुत अधिक बल लगने से कंधे के जोड़ को क्षति भी हो सकती है। केवल गर्दन की मांसपेशियों और कंधे के जोड़ों की धीरे-धीरे मालिश करनी चाहिए। मालिश के लिए महानरायण तेल सर्वोत्तम है। इस रोग से पीड़ित रोगी को चावल की अपेक्षा गेहूं का अधिक सेवन करना चाहिए। कड़वे स्वाद वाली सब्जियाँ जैसे सहिजन की फली, नीम का फल, करेला आदि उसके लिए बहुत फायदेमंद होते हैं। खट्टे पदार्थ विशेषकर दही का सेवन बिल्कुल नहीं करना चाहिए।

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